IRFC Share Price: भारतीय रेलवे के इतिहास में एक और बड़ा कदम, कैसे फायदा उठाएंगे निवेशक?
IRFC Share Price: नई दिल्ली, वित्त वर्ष 2025 के लिए आर्थिक सर्वेक्षण में भारतीय रेलवे के लिए बड़े पैमाने पर विस्तार की घोषणा के बाद रेलवे के संबंधित शेयरों में तेजी देखी गई। 31 जनवरी को, जब भारतीय रेलवे के विकास पर जोर दिया गया, तब शेयर बाजार में आरवीएनएल, इरकॉन, बीईएमएल और आईआरसीटीसी जैसे प्रमुख रेलवे शेयरों में जबरदस्त उछाल आया। इस लेख में हम विस्तार से जानेंगे कि कैसे यह विस्तार भारतीय रेलवे और निवेशकों के लिए फायदेमंद हो सकता है।
रेलवे स्टॉक्स में जबरदस्त तेजी
31 जनवरी को रेलवे से जुड़ी कंपनियों के शेयरों में शानदार बढ़ोतरी देखने को मिली। रेल विकास निगम लिमिटेड (RVNL) के शेयर 10 प्रतिशत तक बढ़कर ₹481.05 पर पहुंच गए। इरकॉन इंटरनेशनल भी 10 प्रतिशत चढ़कर ₹223 पर पहुंचा। बीईएमएल के शेयर 9.6 प्रतिशत बढ़कर ₹3879.90 तक पहुंच गए, जबकि भारतीय रेलवे खानपान और पर्यटन निगम (IRCTC) के शेयर लगभग 6 प्रतिशत बढ़कर ₹824.95 पर पहुंचे। इसके अलावा भारतीय रेलवे वित्त निगम (IRFC) के शेयर में भी 3 प्रतिशत का उछाल आया, जो ₹152.50 पर पहुंच गए।
आर्थिक सर्वेक्षण में रेलवे के विस्तार पर जोर
2025 के आर्थिक सर्वेक्षण में बुनियादी ढांचे के क्षेत्र पर सरकार के फोकस का खुलासा हुआ। रिपोर्ट के अनुसार, अप्रैल से नवंबर 2024 तक 2,000 किलोमीटर से अधिक रेलवे नेटवर्क चालू किया गया। इसके साथ ही वंदे भारत ट्रेनों की 17 नई जोड़ियां शुरू की गईं। इस तेजी से विस्तार को देखकर निवेशकों में उत्साह है, और इसने रेलवे से संबंधित कंपनियों के शेयरों में बढ़ोतरी का कारण बना।
वंदे भारत ट्रेनों का विस्तार
अप्रैल और अक्टूबर 2024 के बीच भारतीय रेलवे ने वंदे भारत ट्रेनों की 17 नई जोड़ियां शुरू कीं। इन ट्रेनों के लिए कुल 228 कोच बनाए गए। इससे यह साफ होता है कि भारतीय रेलवे अपनी सुविधाओं को बढ़ाने के लिए लगातार प्रयास कर रहा है। साथ ही, इसके परिणामस्वरूप रेलवे के स्टॉक्स में तेजी आई है। रेलवे का यह विस्तार भविष्य में और भी प्रगति की ओर अग्रसर करेगा।
रेलवे नेटवर्क का विस्तार और उत्पादन में वृद्धि
आर्थिक सर्वेक्षण में यह भी बताया गया कि रेलवे नेटवर्क के विस्तार के साथ-साथ रोलिंग स्टॉक यानी वैगन, कोच और लोकोमोटिव का उत्पादन भी बढ़ा है। 2024-25 में वैगन का उत्पादन बढ़कर 26,146 यूनिट हो गया, जबकि लोकोमोटिव का उत्पादन 968 इकाइयों से बढ़कर 1,042 इकाइयों तक पहुंच गया। यह विकास भारतीय रेलवे के विस्तार की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
बुलेट ट्रेन परियोजना और अन्य बुनियादी ढांचा प्रोजेक्ट्स
भारतीय रेलवे के विस्तार की एक और महत्वपूर्ण परियोजना मुंबई-अहमदाबाद हाई-स्पीड रेल (बुलेट ट्रेन) है। इस परियोजना में ₹67,486 करोड़ का व्यय किया जा चुका है और अब तक 47.17 प्रतिशत भौतिक प्रगति हो चुकी है। यह परियोजना भारत में उच्च गति रेल परिवहन को लेकर एक बड़ी छलांग साबित हो सकती है। इसके अलावा, रेलवे, सड़क परिवहन, हवाई अड्डे और बंदरगाहों के क्षेत्र में भी सरकार ने बुनियादी ढांचा निर्माण को प्राथमिकता दी है।