नई दिल्ली, बिग बॉस 18 के नए प्रोमो में एक और ड्रामा सामने आया है, जिसमें Chahat Pandey और ईशा सिंह की मां के बीच एक तीखा मुकाबला देखने को मिला। शो के दौरान Chahat Pandey ने अपने अच्छे दोस्त शालिन भनोट के साथ ईशा की निकटता को लेकर मजाक किया, और ऐसा प्रतीत हुआ जैसे दोनों एक-दूसरे को डेट कर रहे हों। इस पर ईशा की मां ने तुरंत अपनी प्रतिक्रिया दी और चाहत को डांटते हुए उनकी छवि को नुकसान पहुंचाने का आरोप लगाया।
Chahat Pandey की मां भावना पांडे का बिग बॉस 18 में एंट्री का फैसला
Chahat Pandey की मां भावना पांडे ने इस मामले पर अपनी बात रखी। उन्होंने इंडिया टुडे डिजिटल से बात करते हुए बताया कि यह उनकी बेटी का सपना था कि वह बिग बॉस में अपनी मां को लाए। भावना ने यह भी कहा कि बिग बॉस एक खेल से कहीं अधिक है, यह एक व्यक्तित्व का शो है, जहां दर्शकों का ध्यान उन प्रतियोगियों पर होता है जिनका व्यवहार और स्वभाव दूसरों से मेल खाता है।
Chahat Pandey के चरित्र हनन को लेकर चिंता
भावना पांडे ने अपनी बेटी के साथ हुए कथित चरित्र हनन के बारे में भी खुलकर बात की। उन्होंने अविनाश मिश्रा और ईशा सिंह पर आरोप लगाया कि उन्होंने चाहत की छवि को खराब करने की कोशिश की। भावना ने कहा कि वह इस बात से हैरान हैं कि कैसे अविनाश मिश्रा ने चाहत से बदतमीजी से बात की और उसे अपमानित किया। साथ ही उन्होंने निर्माताओं से भी सवाल किया कि आखिर क्यों चाहत के साथ इस तरह का व्यवहार किया गया, जबकि उसकी गरिमा की रक्षा के लिए कोई कदम नहीं उठाया गया।
भावना पांडे का अविनाश मिश्रा और उनके परिवार पर हमला
भावना पांडे ने एक बार फिर अविनाश मिश्रा को निशाने पर लिया। उन्होंने कहा कि वह कभी भी अविनाश के परिवार से बातचीत नहीं करना चाहेंगी। उनकी चिंता इस बात को लेकर है कि चाहत को अविनाश के करीब आने से बचना चाहिए और वह नहीं चाहतीं कि उनका बेटी उससे फिर से जुड़ें। भावना ने यह भी साफ किया कि यदि चाहत अविनाश के बाहर जाने के लिए जिम्मेदार होती, तो वह तुरंत दूसरी परियोजना पर क्यों काम करती?
चाहत पांडे और दिग्विजय राठी की दोस्ती का समर्थन
अंत में भावना पांडे ने अपनी बेटी और दिग्विजय राठी की दोस्ती का समर्थन किया। उन्होंने कहा कि उन्हें इन दोनों की दोस्ती पसंद आई थी, लेकिन घर के सदस्यों द्वारा चाहत को बेपरवाही से बाहर कर दिया गया, इससे उनका दिल टूट गया। भावना ने कहा, “मैं उम्मीद करती हूं कि अगले कुछ दिन हर कोई निष्पक्षता से खेले और केवल दर्शकों को ही वोट देने का अधिकार हो, ताकि असली विजेता सामने आ सके।”