Yamuna River: 45 साल के बाद एक बार फिर दिखा यमुना का रोद्र रूप, बने बाढ़ जैसे हालात
नई दिल्ली, देशभर में इस वर्ष मानसून के चलते भारी बारिश देखने को मिली है और लगभग देश के ज्यादातर राज्यों में भारी जलभराव देखा जा रहा है। भारी बारिश की वजह से कई बड़े डैम भी पानी से लबालब हैं। इस स्थिति में हथिनीकुंड बैराज से दिल्ली यमुना में लगातार पानी छोड़ा जा रहा है जिस कारण यमुना नदी (Yamuna River) अपने 45 साल के रिकॉर्ड स्तर को पार कर चुकी है। स्थिति ये है कि आसपास के इलाके में बाढ़ जैसे हालात बन गऐ हैं।
45 वर्ष पहले 1978 में यमुना का अधिकतम जलस्तर 207.49 मीटर तक गया था। बुधवार 12 जुलाई को यमुना का जलस्तर 208.08 तक रिकॉर्ड किया गया लेकिन गुरूवार ये 208.46 मीटर तक जा चुका है। आपको बता दें कि हथिनीकुंड बैराज से अभी भी लगातार पानी छोड़ा जा रहा है।
Yamuna River के आसपास के इलाके जलमग्न
यमुना (Yamuna River) में भंयकर जलभराव के कारण आसपास के इलाकों में बाढ़ जैसे हालात हो चुके हैं। यमुना के नजदीकी क्षेत्रों, कश्मीरी गेट, निगबोध घाट और आईटीआ के नीचले क्षेत्रों में पानी भर गया है। पूर्वी दिल्ली और बुराड़ी से आने वाले यात्रियों को कनॉट प्लेस तक पहुंचने में काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है।
आसपास के इलाकों में भारी जलभराव के कारण ट्रेफिक कंट्रोल की समस्या हो रही है। सड़कों पर भारी जाम देखा जा सकता है। कई जगहों पर यातायात को बंद करना पड़ा है। इस स्थिति को देखते हुए ट्रेकिफ पुलिस ने अनुरोध किया है कि वे अपनी यात्रा की योजना पहले ही बनाकर घर से निकलें।
आसपास के इलाकों में यातायात प्रभावित
यातायात से प्रभावित इलाकों में आईपी फ्लाईओवर से चंदगी राम अखाड़े तक का महात्मा गांधी मार्ग, वजीराबाद ब्रिज से चंदगी राम अखाड़े तक जाने वाला बाहरी रिंग रोड़, कालीघाट मंदिर और प्रगति मैदान के नजदीक, रेलवे अंडरब्रिज के नाले में काफी ज्यादा पानी भरने से यातायात प्रभावित हुआ है। जाम की स्थिति से निपटने के लिए ट्रेफिक पुलिस ने गाड़ियों को दूसरे रास्तों से जाने के लिए डायवर्ट कर दिया है।
मुख्यमंत्री ने लिया जायज़ा
इस स्थिति का जायजा लेने दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविन्द केजरीवाल वजीराबाद पहुंचे। जलस्तर बढ़ने की वजह से चंद्रावल और ओखला वाटर ट्रीटमेंट प्लांट बंद करने पड़े हैं। मुख्यमंत्री ने एक प्रेस इंटरव्यू में बताया कि वाटर प्लांट बंद होने के कारण 25 प्रतिशत दिल्ली को पानी की किल्लत का सामना करना पड़ सकता है।
वहीं मुख्यमंत्री के निर्देशानुसार मरघट वाले हनुमान मंदिर के नजदीक लोगों को बाढ़ से बचाने के लिए AAP कार्यकर्ता राहत कार्य में जुटे हुए हैं। केजरीवाल सरकार दिल्ली (Yamuna River) को बाढ़ से बचाने के लिए सभी जरूरी कठोर कदम उठा रही है।