Leah Tata और Maya Tata: टाटा साम्राज्य की अगली पीढ़ी का नया चेहरा!
नई दिल्ली, टाटा ट्रस्ट के चेयरमैन नोएल टाटा की बेटियां, Leah Tata और Maya Tata, हाल ही में सर रतन टाटा इंडस्ट्रियल इंस्टीट्यूट (SRTII) के न्यासी बोर्ड में शामिल हो गई हैं। यह नियुक्ति नोएल टाटा के सौतेले भाई और टाटा समूह के पूर्व चेयरमैन रतन टाटा के निधन के कुछ महीने बाद हुई है। माया और लीह को टाटा समूह की अगली पीढ़ी के महत्वपूर्ण नेताओं के रूप में देखा जा रहा है।
Leah Tata: होटल इंडस्ट्री की विशेषज्ञ
Leah Tata, जो 39 वर्ष की हैं, टाटा समूह की आतिथ्य शाखा इंडियन होटल्स कंपनी लिमिटेड में उपाध्यक्ष के रूप में कार्यरत हैं। उन्होंने स्पेन के IE बिजनेस स्कूल से मार्केटिंग में मास्टर डिग्री हासिल की है। लीह ने अपने करियर की शुरुआत 2006 में ताज होटल्स रिसॉर्ट्स एंड पैलेसेस में सहायक बिक्री प्रबंधक के रूप में की थी।
उन्होंने लुई वुइटन जैसी कंपनियों में इंटर्नशिप कर अंतरराष्ट्रीय अनुभव भी प्राप्त किया है। इसके अलावा, Leah Tata अपने भाई-बहनों माया और नेविल टाटा के साथ टाटा मेडिकल सेंटर ट्रस्ट (TMCT) की ट्रस्टी हैं। यह ट्रस्ट कोलकाता में कैंसर अस्पताल चलाता है, जिसका उद्घाटन रतन टाटा ने किया था।
माया टाटा: डिजिटल दुनिया की विशेषज्ञ
36 वर्षीय माया टाटा वर्तमान में टाटा डिजिटल के साथ काम कर रही हैं। उन्होंने यूनाइटेड किंगडम के बेयस बिजनेस स्कूल और वारविक यूनिवर्सिटी से पढ़ाई की है। माया ने टाटा कैपिटल की सहायक कंपनी टाटा ऑपर्च्युनिटीज फंड से अपने करियर की शुरुआत की।
माया का सबसे बड़ा योगदान टाटा न्यू ऐप के लॉन्च में रहा है। उनका अनुभव पोर्टफोलियो प्रबंधन और निवेशक संबंधों में गहरा है। अब, उनके SRTII में शामिल होने से ट्रस्ट को डिजिटल और आधुनिक दृष्टिकोण में लाभ मिलेगा।
SRTII में नियुक्ति का महत्व
माया और Leah Tata को सर रतन टाटा ट्रस्ट के न्यासी बोर्ड द्वारा सर्वसम्मति से चुना गया। यह संस्थान महिलाओं को रोजगार के अवसर प्रदान करने के लिए समर्पित है। बोर्ड ने माया और लीह को इसलिए चुना क्योंकि वे ट्रस्ट के कामकाज के बारे में पहले से जानकारी रखती हैं और मुंबई में नियमित रूप से उपलब्ध हैं।
आंतरिक कलह और बदलाव
हालांकि, इस नियुक्ति ने ट्रस्ट के भीतर आंतरिक असहमति को जन्म दिया है। दुबई में काम कर रहीं पूर्व न्यासी अर्नाज कोटवाल ने इसे लेकर नाराजगी जाहिर की। उन्होंने बोर्ड के सदस्यों पर अपने फैसलों को लेकर पारदर्शिता न होने का आरोप लगाया।
टाटा बहनों की भविष्य की भूमिका
माया और Leah Tata की नियुक्ति यह संकेत देती है कि टाटा ट्रस्ट्स अब युवा और नई पीढ़ी को नेतृत्व में लाने पर ध्यान केंद्रित कर रहा है। दोनों बहनें टाटा साम्राज्य की समृद्ध विरासत को आगे बढ़ाने की दिशा में काम करेंगी।