Indian Railways: आईआरसीटीसी वेबसाइट बंद! जानें इसके पीछे का कारण और क्या करें?
नई दिल्ली, गुरुवार को भारतीय रेलवे के ऑनलाइन टिकटिंग प्लेटफॉर्म, Indian Railways खानपान एवं पर्यटन निगम (आईआरसीटीसी) में अचानक से तकनीकी व्यवधान आ गया। इसके कारण लाखों यात्री वेबसाइट और मोबाइल ऐप तक पहुँचने में असमर्थ रहे। यह व्यवधान Indian Railways की डिजिटल शाखा, आईआरसीटीसी द्वारा की जा रही रखरखाव गतिविधियों के कारण हुआ। आईआरसीटीसी ने अपने बयान में यह पुष्टि की कि यह व्यवधान अस्थायी था और जल्द ही इसे हल कर लिया जाएगा।
कस्टमर केयर से रद्द करें टिकट
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यदि यात्री अपनी यात्रा को रद्द करना चाहते हैं, तो वे आईआरसीटीसी के कस्टमर केयर से संपर्क कर सकते हैं। इसके लिए ग्राहक सेवा नंबर और ईमेल के माध्यम से टिकट रद्द करने की प्रक्रिया की जा सकती है। आईआरसीटीसी ने यात्रियों को यह भी सलाह दी कि वे अपनी टिकट रसीद (TDR) को ईमेल करके या कस्टमर केयर से कॉल करके रद्द करवा सकते हैं।
आईआरसीटीसी द्वारा दी गई संपर्क जानकारी इस प्रकार है:
- ग्राहक सेवा नंबर: 14646, 08044647999, 08035734999
- ईमेल: etickets@irctc.co.in
छुट्टियों में तकनीकी खराबी और यात्रियों की बढ़ी चिंता
यह व्यवधान ऐसे समय में हुआ है जब यात्रियों की संख्या अधिक होती है, खासकर छुट्टियों के मौसम में। छुट्टियों के दौरान यात्रा करने वाले यात्रियों के लिए यह समय बहुत महत्वपूर्ण होता है, क्योंकि वे अपनी ट्रेन टिकट बुक करने या उसे मैनेज करने के लिए आईआरसीटीसी प्लेटफॉर्म पर निर्भर रहते हैं। ऐसे में इस तकनीकी गड़बड़ी ने यात्रियों को काफी परेशान किया।
आईआरसीटीसी के शेयरों में गिरावट
आईआरसीटीसी के प्लेटफॉर्म में आए इस अस्थायी व्यवधान का असर इसके शेयर बाजार पर भी पड़ा है। आज के कारोबारी सत्र में आईआरसीटीसी के शेयर में करीब 1% की गिरावट आई है। पिछले हफ्ते में भी इसके शेयर में करीब 4% की गिरावट देखी गई थी। इसके अलावा, 2024 के पहले महीने में अब तक कंपनी के शेयर में 10% से ज्यादा की गिरावट आ चुकी है, जिससे निवेशकों को नुकसान हो रहा है।
नए टिकटिंग नियमों के बाद आए तकनीकी व्यवधान
यह तकनीकी गड़बड़ी Indian Railways द्वारा अपनी टिकट बुकिंग नीतियों में महत्वपूर्ण बदलाव करने के बाद आई है। 1 नवंबर से भारतीय रेलवे ने अग्रिम आरक्षण अवधि (एआरपी) को 120 दिनों से घटाकर 60 दिन कर दिया था। इससे यात्रियों को टिकट बुक करने के लिए कम समय मिला है। इस बदलाव का उद्देश्य ओवर-बुकिंग और कैंसिलेशन को रोकना है, लेकिन यात्रियों की प्रतिक्रिया मिश्रित रही है। रेलवे का कहना है कि इस बदलाव से यात्रा की वास्तविक मांग को ट्रैक करना और विशेष ट्रेनों के लिए सही योजना बनाना आसान होगा।
नया नियम और इसका उद्देश्य
Indian Railways का मानना है कि यह बदलाव ‘नो-शो’ यात्रियों को हतोत्साहित करेगा। ‘नो-शो’ वे यात्री होते हैं जिन्होंने टिकट तो बुक किया होता है, लेकिन वे यात्रा पर नहीं जाते और न ही अपनी बुकिंग रद्द करते हैं। रेलवे बोर्ड के अधिकारियों के अनुसार, 61 से 120 दिन पहले किए गए लगभग 21% आरक्षण रद्द हो जाते थे, जबकि 5% यात्री न तो अपनी बुकिंग रद्द करते थे और न ही यात्रा करते थे।