Defence Budget 2025: जानिए कैसे रक्षा बजट में 9% का इज़ाफा भारत की सुरक्षा को और मजबूत करेगा!
Defence Budget 2025: नई दिल्ली, वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने 2025 का केंद्रीय बजट पेश करते हुए कई महत्वपूर्ण घोषणाएं की हैं। इस बजट में जहां आम लोगों के लिए टैक्स छूट की घोषणा की गई है, वहीं रक्षा क्षेत्र को भी प्राथमिकता दी गई है। इस बार के बजट में रक्षा क्षेत्र के लिए कुल 6 लाख 81 हजार करोड़ रूपये का आवंटन किया गया है, जो कि पिछले साल के मुकाबले लगभग 9 फीसदी ज्यादा है। आइए जानते हैं इस बजट के अहम पहलुओं के बारे में।
रक्षा क्षेत्र के लिए बढ़ा बजट
Sponsored Ad
2025 के बजट में रक्षा क्षेत्र को काफी महत्व दिया गया है। कुल 6 लाख 81 हजार करोड़ रूपये का आवंटन किया गया है, जबकि पिछले वर्ष 6 लाख 20 हजार करोड़ रूपये थे। इससे साफ जाहिर है कि सरकार ने इस क्षेत्र में निवेश को बढ़ाने की दिशा में कदम उठाए हैं। इस बजट का लगभग 9 फीसदी हिस्सा रक्षा क्षेत्र पर खर्च होगा, जिससे भारत की सुरक्षा और सैन्य क्षमता को और मजबूत किया जा सकेगा।
वेतन और साजो-समान पर खर्च
रक्षा क्षेत्र में आवंटित कुल 6 लाख 81 हजार करोड़ रूपये में से सबसे बड़ा हिस्सा वेतन, ऑपरेशन और साजो-समान की रखरखाव में खर्च किया जाएगा। करीब 4 लाख 88 हजार करोड़ रूपये इस पर खर्च होंगे। इसके अलावा, 1 लाख 92 हजार करोड़ रूपये नए उपकरणों की खरीद और आधुनिकीकरण के लिए खर्च किए जाएंगे। इससे भारतीय सेना की ताकत में इजाफा होगा और सुरक्षा को और मजबूती मिलेगी।
डिफेंस पेंशन पर खर्च
रक्षा बजट का एक अहम हिस्सा डिफेंस पेंशन के लिए रखा गया है। इस वर्ष करीब 1 लाख 60 हजार करोड़ रूपये पेंशन के रूप में खर्च होंगे। यह बजट सेना के पूर्व कर्मचारियों और उनके परिवारों के लिए एक महत्वपूर्ण कदम साबित होगा। इससे पेंशन पाने वालों को राहत मिलेगी और उन्हें जीवन यापन में मदद मिलेगी।
नौसेना के लिए कितना आवंटन?
इस बजट में नौसेना के लिए भी एक बड़ा आवंटन किया गया है। 24 हजार 390 करोड़ रूपये का बजट नौसेना के बेड़े के विस्तार और उसके आधुनिकीकरण के लिए रखा गया है। इसके अलावा, एयरक्राफ्ट और एयरो इंजन के क्षेत्र में 48 हजार 614 करोड़ रूपये का आवंटन किया गया है। इससे भारतीय नौसेना और वायुसेना की क्षमता में वृद्धि होगी, जो देश की सुरक्षा को और मजबूती प्रदान करेगा।
सीमा सड़क संगठन और DRDO को भी मिला बड़ा आवंटन
बजट में बुनियादी ढांचे और रक्षा शोध संस्थानों के लिए भी खास आवंटन किया गया है। बॉर्डर रोड ऑर्गनाइजेशन (BRO) को 7 हजार 134 करोड़ रूपये का आवंटन किया गया है, जो पिछले साल के मुकाबले 10 फीसदी ज्यादा है। इसके अलावा, रक्षा अनुसंधान और विकास संगठन (DRDO) को 14 हजार 923 करोड़ रूपये का आवंटन किया गया है। ये दोनों संगठन भारतीय सुरक्षा और रक्षा उपकरणों के निर्माण में अहम भूमिका निभाते हैं।
रक्षा क्षेत्र पर क्यों है विशेष ध्यान?
सरकार ने रक्षा क्षेत्र पर ध्यान केंद्रित किया है क्योंकि पिछले कुछ वर्षों में सीमाओं पर तनाव और आंतरिक सुरक्षा से जुड़े मुद्दे बढ़े हैं। सरकार ने इन समस्याओं को देखते हुए रक्षा क्षेत्र के लिए विशेष बजट बढ़ाया है ताकि भारत की सैन्य ताकत और बेहतर हो सके और देश की सुरक्षा को और सुदृढ़ किया जा सके।
राजकोषीय घाटे को नियंत्रित करने की योजना
इस बजट में सरकार का लक्ष्य राजकोषीय घाटे को नियंत्रित करना है। सरकार ने इसे जीडीपी के 4.4 फीसदी तक लाने का लक्ष्य रखा है। इसके लिए सरकार बाजार से 11 लाख 54 हजार करोड़ रुपये जुटाने की योजना बना रही है।
Sponsored Ad